मैं उनके फ़ोन को इंतज़ार करता रहा
वो मेरे फ़ोन का इंतज़ार करते रहे
हम दोनों एक दुसरे के फ़ोन का इंतज़ार करते रहे
इंतज़ार करते करते इंतज़ार इंतज़ार होगया
न मैं फ़ोन किया न उन ने फ़ोन किया
और धीरे धीरे इंतज़ार बढता ही गया
इंतज़ार इतना बडगया की
आपस की दूरिया भी बढती ही चली गयी
वो हमसे दूर हो गए हम उनसे दूर हो गए
अब तो सिर्फ यादें ही इंतज़ार बनके रहे गयी
इंतज़ार को इंतज़ार न बने दो दोस्त
नहीं तो कल को यही इंतजार
इंतजार बन के दिल को रुलाता रहेज़ेगा
Sunday, March 14, 2010
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